Breaking News

पटवारियों की शिकायत पर गांव पहुंचे कलेक्टर सत्यता जानने

पटवारियों की शिकायत पर गांव पहुंचे कलेक्टर सत्यता जानने

गिरदावरी एप में विसंगति देख शासन को अवगत कराने का बोल उलटे पैर वापस लौट आए कलेक्टर

लोकमतचक्र.कॉम।

भोपाल/दतिया : प्रदेश भर के पटवारियों द्वारा जियो फेंस गिरदावरी के किए जा रहे विरोध के चलते प्रशासन और पटवारियों में टकराव की स्थिति बनते जा रही है। ऐसा ही कुछ हुआ कल दतिया जिले में हुआ, जब पटवारियों के विरोध को देखते हुए कलेक्टर खुद ग्राम में गिरदावरी एप की जांच करने पहुंचे। मौके पर जिओ फेंस गिरदावरी मैं आ रही विसंगति को देखते हुए कलेक्टर महोदय स्वयं ही पशोपेश में पड़ गए और प्रशासन को इस से अवगत कराने का बोलकर उल्टे पैर वापस लौट आए। इससे यह तो सिद्ध होता है कि पटवारियों के द्वारा जो समस्या रखी गई है वह जायज है और यदि इसका निराकरण नहीं हुआ तो पटवारियों के साथ ही किसानों को भयंकर नुकसान होगा । एप की विसंगति के चलते किसान फसल विक्रय के लिए अपनी वही गई फसल का पंजीयन नहीं करा पाएंगे जो उन्होंने बोई है, वही गलत गिरदावरी दर्ज करने के आरोप पटवारी पर लगेंगे जबकि गलती गिरदावरी एप की है।

● दतिया में ये हुआ, जब कलेक्टर ने की गिरदावरी...

सारा एप में आ रही समस्याओं की वास्तविक हकीकत जानने सोमवार को कलेक्टर एवं पटवारी जिले के ग्राम बिनिया पहुंचे। सूत्रों के अनुसार ग्राम बिड़निया में कलेक्टर और पटवारी जिस खेत में खड़े थे वह मैप में 37 मीटर दूर बता रहा था। जबकि वास्तविकता में 37 मीटर दूर दूसरे किसान का खेत था। ऐसे में किस किसान ने अपने खेत में कोन सी फसल बोई है यह दर्ज करना चुनौती पूर्ण है।


● इस संबंध में क्या कहना है पटवारी संघ का...

इस संबंध में चर्चा करते हुए मध्यप्रदेश पटवारी संघ की संवाद समिति अध्यक्ष राजीव जैन ने कहा कि पटवारी बिना वजह जियो फेंस गिरदावरी का विरोध नहीं कर रहे है। यह दतिया कलेक्टर महोदय ने स्वयं देख लिया है । इसके साथ ही उन्होंने बताया कि संघ के द्वारा पूर्व में 3 बार जियो फैंस हटाये जाने हेतु ज्ञापन दिया है, जिसके माध्यम से संसाधन के अभाव में एवं व्यवहारिक समस्या के चलते जियो फेंस गिरदावरी हटाने की माँग की गई है। जियो फेंस गिरदावरी में आ रही व्यवहारिक समस्याओं के चलते पटवारियों द्वारा किसान हित में  सभी जिलों में मैन्युअल गिरदावरी की गई।

पटवारी संघ अध्यक्ष उपेंद्र सिंह बाघेल का कहना है कि इसी तारतम्य में प्रदेश के कुछ जिलों में पटवारियों पर दवाब बनाकर उन्हें गिरदावरी करने पर बाध्य किया गया है, चूंकि समस्त पटवारी जियो फेंस गिरदावरी मे शासन द्वारा बिना संसाधन एवं उसमें आ रही व्यवहारिक कठिनाइयों को दूर किये बिना करने के पक्ष में नहीं हैं, ऐसे में जियो फैंस गिरदावरी न करने के लिए बाध्य हैं ।फिर भी कुछ जिलों में जियो फेंस गिरदावरी न करने पर पटवारियों को नोटिस जारी कर अनैतिक रूप से द्वेषपूर्ण कारण बताओ नोटिस, निलंबन जैसी  कार्यवाहियां की गईं हैं। अतः हम समस्त पटवारी इन कार्यवाहियों के जवाब में शासन को पत्र के माध्यम यह अवगत कराना चाहते हैं कि यदि शासन/ प्रशासन द्वारा दो दिवस में पटवारियों पर की गईं कार्यवाहियों को वापस नहीं लिया जाता एवं जियो फेंस गिरदावरी को नहीं हटाया जाता, तो ऐसे में हम ज़िले व प्रदेश के समस्त पटवारी आगामी तीन दिवस ( बुधवार, गुरुवार, शुक्रवार) को सामूहिक अवकाश लेने के लिए बाध्य रहेंगे।

गौरतलब है कि मैदानी स्तर पर कार्य की जाने वाली योजनाएं अधिकतर बंद कमरों में एसी में बैठे अधिकारियों द्वारा बनाई जाती है, जिसमें उन्हें मैदानी स्तर पर आने वाली समस्याओं का ज्ञान नहीं हो पाता है। जिसके चलते शासन की योजनाएं अपेक्षित प्रगति नहीं कर पाती है, वही शासकीय कर्मचारियों को अनेकों मुसीबत का सामना करना पड़ता है। जिसके चलते प्रशासन और कर्मचारियों में टकराव की परिस्थिति निर्मित होती है। योजना प्रारंभ करने के पहले प्रशासन को चाहिए कि पायलट प्रोजेक्ट के रूप में कुछ स्थानों पर योजनाओं को मूर्त रूप दिया जावे और आने वाली कठिनाइयों का निराकरण किया जावे उसके पश्चात ही ऐसी योजनाएं लागू करें ताकि मैदानी स्तर पर कर्मचारियों को परेशान ना होना पड़े साथ ही प्रशासन से टकराहट की स्थिति निर्मित ना हो।

कोई टिप्पणी नहीं