होशंगाबाद-खंडवा स्टेट हाइवे क्षतिग्रस्त, हरदा से खिरकिया के बीच का हिस्सा ज्यादा खराब
होशंगाबाद-खंडवा स्टेट हाइवे क्षतिग्रस्त, हरदा से खिरकिया के बीच का हिस्सा ज्यादा खराब
दिन पर दिन बढ़ रहे गड्ढे, जिम्मेदार अधिकारी और जनप्रतिनिधि नहीं दे रहे ध्यान
लोकमतचक्र डॉट कॉम।
खिरकिया (सुनील कुमार जैन) : मेंटेनेंस के अभाव में होशंगाबाद-खंडवा स्टेट हाईवे दिन पर दिन बदहाल होता जा रहा है। सड़क पर कहीं गड्ढे बढ़ते जा रहे हैं, तो कहीं डामर की टेकरी शरीर पर फोड़े की भांति उभर आई हैं। यहां से गुजरते वाहन असंतुलित होकर दुर्घटना का शिकार हो रहे हैं। हाईवे पर करीब चार साल से टोल टैक्स वसूली बंद होने के बाद इसका कोई रखवाला नहीं बचा। रोड पर गड्ढे बढ़ने, सड़क पर दरार आने और कई स्थानों पर सड़क के दबने से डामर की टेकरियां बनने के कारण तेज रफ्तार वाहन असंतुलित हो रहे है। बता दें कि इस हाईवे का निर्माण करीब 20 साल पहले हुआ था। इस अवधि में होशंगाबाद से खंडवा तक करीब 210 किमी में चार स्थानों (होशंगाबाद, पगढाल, छीपाबड़ व खंडवा) पर टोल वसूली होती थी। इस दौरान सड़क के रखरखाव का जिम्मा निर्माण कंपनी का था। टोल वसूली चली तब तक तो सड़क का मेंटेनेंस कुछ हद तक हुआ भी, लेकिन इसकी मियाद खत्म होने के चलते यह भी बंद हो गया। सड़क एमपीआरडीसी के सुपुर्द होने के बाद से इसका मेंटेनेंस पूरी तरह बंद है।
अफसर, नेता भी नहीं दे रहे ध्यान
मप्र सड़क विकास प्राधिकरण का कार्यालय जिले में नहीं होने से निर्माण कंपनी को इसके सुधार की याद दिलाने वाला भी कोई नहीं रहता। स्थानीय अधिकारी और जनप्रतिनिधि भी दुर्घटना के इन स्थानों पर सुधार को लेकर फिक्रमंद नहीं रहते। नतीजतन वाहन चालकों को कई तरह की परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। इधर सड़क के दोनों ओर साइड सोल्डर नहीं भरे जाने से यहां कटाव बढ़ गया है। वाहनों की क्रासिंग के दौरान यहां खतरा बना रहता है।
हरदा-खिरकिया का हिस्सा ज्यादा खराब
हाईवे का हरदा से खिरकिया के बीच का हिस्सा ज्यादा खराब हो चुका है। समूचे मार्ग की हालत इतनी खराब हो गई है कि 35 किमी का फासला पूरा करने में वाहनों को एक से डेढ़ घंटा लग जाता है। जबकि यह सफर मात्र 40 मिनट का है। दिलचस्प यह है कि इस मार्ग से जिले के आला अफसर दर्जनों मरतबा निकलते रहे हैं, लेकिन इसके मेंटेनेंस की परवाह आज तक किसी ने नहीं की।
रेलिंग की मरम्मत नहीं की
स्टेट हाईवे पर पोखरनी से हरदा तक पुल-पुलिया की रेलिंग भी लंबे समय से क्षतिग्रस्त है। बारिश के कारण नदी-नालों में बाढ़ से रेलिंग बहने के बाद दोबारा मरम्मत नहीं की गई। ऐसे में पुल-पुलिया से वाहनों के गुजरने के दौरान दुर्घटना का खतरा बना रहता है। मुहाल में रेलिंग बीते साल नदी की बाढ़ में बह गई। अभी तक नहीं ठीक की गई। मांदला पुल पर रेलिंग के रूप में सिर्फ पिलर ही खड़े हैं। बीच के पाइप तीन साल से नदारद हैं।
इनका कहना है-
शीघ्र होगी मरम्मत हरदा-खिरकिया के बीच के 35 किमी रोड की मरम्मत के लिए शीघ्र ही टेंडर जारी किए जाएंगे। टेंडर प्रक्रिया पूरी होने के बाद मरम्मत कार्य करवाया जाएगा।
-प्रवीण नीमजे, महाप्रबंधक, मप्र सड़क विकास निगम, होशंगाबाद।
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