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सरकार की उपेक्षा से नाराज तहसीलदार संघ के कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन, काली पट्टी लगाकर किया आंदोलन का शंखनाद

सरकार की उपेक्षा से नाराज तहसीलदार संघ के कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन, काली पट्टी लगाकर किया आंदोलन का शंखनाद

लोकमतचक्र डॉट कॉम। 

हरदा। राज्य शासन की उपेक्षा से नाराज तहसीलदार और नायब तहसीलदारों ने फिर आन्दोलन का शंखनाद कर दिया है, इसके चलते प्रांत के आव्हान पर आज जिले के समस्त तहसीलदार एवं नायब तहसीलदारों ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा एवं काली पट्टी लगाकर काम किया ।


तहसीलदार संघ के जिलाध्यक्ष धर्मेंद्र चौकसे ने बताया कि मध्य प्रदेश राजस्व अधिकारी संघ ने बैठक कर निर्णय लिया है कि प्रदेश में तहसीलदार, नायब तहसीलदारों को पदोन्नति नहीं दिए जाने, राजपत्रित अधिकारी दर्जा नहीं देने और वेतन विसंगति दूर नहीं करने को लेकर बार-बार शासन के समक्ष लगातार मांगपत्र देने के बाद भी निराकरण नहीं किया जा रहा है। इसको लेकर 28 फरवरी को रिमाइंडर दिया गया लेकिन तब भी कोई सुनवाई नहीं हुई है। इससे लगता है कि राजस्व अधिकारी संघ के मांगपत्र शासन के लिए कोई महत्व नहीं रखते हैं। इसलिए संघ ने फैसला किया है कि आज गुरुवार से पूरे प्रदेश में राजस्व अधिकारी 2 दिवस तक दाएं बांह में काली पट्टी बांध कर काम करेंगे। इस दौरान सभी राजस्व अधिकारी जिला मुख्यालय में या अनुभाग मुख्यालय में एकत्र होकर 3 दिन के सामूहिक अवकाश का आवेदन एक साथ हस्ताक्षर करके कलेक्टर या अनुविभागीय अधिकारी को देंगे।इसमें 20 से 22 मार्च तक तीन दिन तक सामूहिक अवकाश की जानकारी दी जाएगी। इस दौरान राजस्व अधिकारी अपने को हर तरह के प्रशासनिक, कार्यपालिक, न्यायालयीन कार्य से मुक्त रखेंगे। संघ ने तय किया है कि वे बोर्ड परीक्षा ड्यूटी भी नही करेंगें, जिसकी सूचना आवेदन पत्र में दी जाएगी। इसके साथ ही प्रमुख राजस्व आयुक्त द्वारा बनाए गए सूचना ग्रुप से भी सभी लेफ्ट होंगें। 23 मार्च को सभी अधिकारी पुन: कार्यालय में उपस्थित होकर कार्य करेंगे। 24 और 25 मार्च को पुन: गूगल मीट बैठक होगी और आगामी योजना की रूपरेखा तैयार की जाएगी। 

संघ के पदाधिकारी आज या कल राजस्व मंत्री और अन्य प्रशासनिक मुखिया के समक्ष एक स्मरण पत्र सामूहिक अवकाश को लेकर देने वाले हैं। संघ के इस निर्णय के अनुरूप आज जिले के समस्त तहसीलदारों ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा और काली पट्टी लगाकर काम किया।

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