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हरदा जिला जल अभावग्रस्त क्षेत्र घोषित, नलकूप खनन पर लगा प्रतिबंध

हरदा जिला जल अभावग्रस्त क्षेत्र घोषित, नलकूप खनन पर लगा प्रतिबंध 

आदेश का उल्लंघन होने पर संबंधित के विरूद्ध होगी वैधानिक कार्यवाही, SDM से लेना होगी अनुमति

लोकमतचक्र डॉट कॉम।

हरदा : जिले में घटते भू जल स्तर को ध्यान में रखते हुए कलेक्टर ऋषि गर्ग ने हरदा जिले को 31 जुलाई 2023 तक की अवधि के लिये मध्यप्रदेश पेयजल परिरक्षण अधिनियम 1986 के तहत "जल अभावग्रस्त क्षेत्र' घोषित कर दिया है। इस संबंध आदेश जारी हो चुके है। जारी आदेश अनुसार बिना अनुमति कोई भी प्रायवेट ट्यूबवेल व हेण्डपम्प का खनन नहीं किया जा सकेगा। इस अवधि के दौरान जल स्त्रोतों से सिंचाई व औद्योगिक कार्य के लिये बिना अनुमति पानी नहीं लिया जा सकेगा। इस आदेश का उल्लंघन होने पर संबंधित के विरूद्ध वैधानिक कार्यवाही की जाएगी। अत्यावश्यक होने पर नलकूप व हेण्डपम्प खनन के लिये संबंधित क्षेत्र के एसडीएम से अनुमति लेना होगी ।

कार्यपालन यंत्री, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग, हरदा द्वारा अवगत कराया गया है, कि हरदा जिले में विगत वर्ष की तुलना में वर्तमान में भू-जल स्तर 42 मीटर है। आगामी ग्रीष्मकाल में अत्याधिक गर्मी / तापमान संभावित होने के फलस्वरूप जल स्तर में अधिक गिरावट संभावित है। गिरते भू-जल स्तर को ध्यान में रखते हुये म.प्र. पेयजल परिरक्षण अधिनियम 1986 के तहत निजी नवीन नलकूप खनन तथा जल स्रोतों से सिंचाई पर प्रतिबंध लगाया जाना आवश्यक हैं। वर्षाकाल पश्चात जनता द्वारा तेजी से नलकूप खनन कार्य कराये जाते है, जिससे विगत माहों में ही जिले के अन्तर्गत विकासखण्डों में जल स्तर काफी नीचे गिर रहा है, जिससे पेयजल स्रोत प्रभावित हो रहा है।


हरदा जिले में पेयजल एवं घरेलू प्रयोजनों हेतु जल समस्या को दृष्टिगत रखते हुये, मैं ऋषि गर्ग, कलेक्टर जिला - हरदा (म.प्र.)इसहै।ष्कर्ष पर पहुँचता हूँ कि जनता को जल प्रदाय बनाये रखने या बढ़ाने के लिये या जल का समान वितरण सुनिश्चित करने के लिये या जनता की आवश्यकता की पूर्ति करने हेतु जल प्राप्त करने के लिए ऐसा करना आवश्यक या युक्तिसंगत है। अतः म.प्र. पेयजल परिरक्षण अधिनियम 1986 एवं (संशोधित) अधिनियम 2022 की (धारा (3) के अन्तर्गत में जनहित में समस्त हरदा जिले को आदेश जारी दिनांक से दिनांक 31 जुलाई 2023 तक जल अभावग्रस्त क्षेत्र घोषित करता हूँ। तथा उक्त अधिनियम उपबंध तत्काल प्रभाव से हरदा जिले में लागू करता है।

म.प्र. पेयजल परिरक्षण अधिनियम 1986 एवं (संशोधित) अधिनियम 2022 की धारा (3) एवं (4) के अन्तर्गत प्राप्त शक्तियों का उपयोग करते हुये में सम्पूर्ण हरदा जिले में नये वैयक्तिक (प्रायवेट) खनन होने वाले नलकूप, हैण्डपम्प पर तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगाता हूँ । बिना सम्यक अनुमति के कोई भी प्रायवेट ट्यूबवेल / हैण्डपंप का खनन नहीं किया जायेगा और ना ही इस अवधि के दौरान जल स्रोतों से कृषि हेतु सिंचाई, औद्योगिक कार्य हेतु उपयोग बिना सक्षम अनुमति किया जायेगा । इस आदेश का उल्लंघन होने पर संबंधित के विरूद्ध नियमानुसार वैधानिक कार्यवाही की जाकर दंडित किया जायेगा । नलकूप खनन / सिंचाई की अनुज्ञा जारी करने हेतु अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) सर्व, जिला हरदा को अपने-अपने क्षेत्राधिकार हेतु अधिकृत किया जाता है ।




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